बवासीर को जड़ से खत्म करने के लिए अपनाएं ये आयुर्वेदिक उपचार
क्या
आपको
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बवासीर
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भी
बवासीर का इलाज
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यह
कुछ
उपाए
जो
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बवासीर
से
छुटकारा
पाने
में
कर
सकते
है
मदद।
बवासीर का आयुर्वेदिक इलाज
त्रिफला चूर्ण
त्रिफला चूर्ण तीन प्रमुख जड़ी-बूटियों – हरड़, बहेड़ा और आंवला – से मिलकर बना होता है। यह आंतों को साफ करने और पाचन क्रिया को सुधारने में मदद करता है।
सेवन विधि: रात में सोने से पहले एक चम्मच त्रिफला चूर्ण गुनगुने पानी के साथ लें। इससे कब्ज दूर होती है और बवासीर का इलाज में मदद मिलती है।
हरितकी (हरड़) का सेवन
हरितकी शरीर से विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करती है और पाचन को दुरुस्त रखती है। सेवन विधि: हरड़ चूर्ण को शहद या गुनगुने पानी के साथ रोजाना लेने से बवासीर का आयुर्वेदिक इलाज में लाभ मिलता है।
अर्जुन छाल का काढ़ा
अर्जुन की छाल में एंटी-इंफ्लेमेटरी और रक्त को शुद्ध करने वाले गुण होते हैं।
सेवन विधि: अर्जुन की छाल को पानी में उबालकर इसका काढ़ा बनाएं और दिन में दो बार पिएं। यह खूनी बवासीर के लिए
आयुर्वेदिक दवा के रूप में कारगर साबित होता है।
नागकेसर का उपयोग
नागकेसर खूनी बवासीर में अत्यधिक प्रभावी माना जाता है। यह रक्तस्राव को नियंत्रित करने में मदद करता है।
सेवन विधि: आधा चम्मच नागकेसर चूर्ण को शहद या गुनगुने पानी के साथ लें।
एलोवेरा जूस
एलोवेरा एक बेहतरीन प्राकृतिक उपचार है जो आंतरिक और बाहरी बवासीर दोनों में राहत देता है। सेवन विधि: प्रतिदिन सुबह खाली पेट एलोवेरा जूस का सेवन करें। साथ ही, एलोवेरा जेल को प्रभावित स्थान पर लगाने से जलन और सूजन में राहत मिलती है।
बवासीर के घरेलू उपाय
नारियल तेल और कपूर का मिश्रण
नारियल तेल और कपूर को मिलाकर प्रभावित स्थान पर लगाने से सूजन और जलन में राहत मिलती है।
गर्म पानी से सेंक (सिट्ज़ बाथ)
गर्म पानी में थोड़ा सा फिटकरी या सेंधा नमक मिलाकर बैठने से दर्द और सूजन कम होती है।
छाछ और अजवाइन
छाछ में अजवाइन और काला नमक मिलाकर पीने से पाचन तंत्र मजबूत होता है और कब्ज से राहत मिलती है।
घी और मिश्री
घी और मिश्री को मिलाकर चाटने से आंतरिक बवासीर में राहत मिलती है।
कच्चा प्याज और दही
कच्चे प्याज को दही में मिलाकर खाने से बवासीर का प्राकृतिक
इलाज में सुधार होता है।
बवासीर का स्थायी इलाज
योग और प्राणायाम
योग और प्राणायाम बवासीर का स्थायी
इलाज में मदद करते हैं।
- मलासन: मल त्याग को आसान बनाता है।
- पवनमुक्तासन: गैस और कब्ज की समस्या को दूर करता है।
- कपालभाति प्राणायाम: पाचन तंत्र को मजबूत बनाता है।
आयुर्वेदिक औषधियां
- अरशोगन वटी – बवासीर के लिए आयुर्वेदिक दवा
- अभयारिष्ट – पाचन में सुधार करता है
- कायाकल्प वटी – रक्त को शुद्ध करता है
फाइबर युक्त आहार
फाइबर युक्त आहार पाचन को दुरुस्त रखता है और मल त्याग को आसान बनाता है।
- हरी पत्तेदार सब्जियां
- फल (पपीता, अनार, केला)
- साबुत अनाज
- दालें
- खूब पानी पीना
निष्कर्ष
बवासीर एक बेहद कष्टदायक समस्या हो सकती है, लेकिन सही आयुर्वेदिक उपचार और जीवनशैली में बदलाव से इसे पूरी तरह ठीक किया जा सकता है। त्रिफला चूर्ण, हरड़, अर्जुन छाल, नागकेसर और एलोवेरा जैसे आयुर्वेदिक उपचार बवासीर का आयुर्वेदिक इलाज में मदद करते हैं। साथ ही, बवासीर के घरेलू उपाय अपनाकर और फाइबर युक्त आहार का सेवन करके इस समस्या से स्थायी रूप से छुटकारा पाया जा सकता है।
अगर बवासीर की समस्या लंबे समय से बनी हुई है, तो किसी अनुभवी आयुर्वेद विशेषज्ञ से परामर्श लेना आवश्यक है।
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